क्रिकेट का खेल है बड़ा मजेदार। भले ही इसकी शुरुआत 1877 में ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के मैच से हुई हो पर फिर भी अपने 140 साल से ज्यादा के इतिहास में क्रिकेट में बहुत आश्चर्यजनक बातें हुई हैं। 1877 से यह खेल बहुत बदल गया है और अब यह खेल 8-10 देशों में ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में बहुत लोकप्रिय है। भले ही वह टेस्ट हो या वनडे। T20 इंटरनेशनल हो या किसी देश का घरेलू टी-20 टूर्नामेंट। हर साल क्रिकेट के हजारों मैच खेले जाते हैं अलग-अलग स्तर पर। जिन्हें देखकर लोगों को बहुत मजा आता है। आज बात करेंगे इस खेल से जुड़े 5 मजेदार किस्सों के बारे में जो आप को आश्चर्यचकित कर देंगे। तो चलिए शुरू करते हैं-
सुनील गावस्कर की 174 गेंद में मात्र 36 रन की पारी
पहला मजेदार किस्सा है वर्ल्ड कप के पहले मैच का। 7 जून 1975 में इंग्लैंड के सामने थी इंडिया। उस मैच में इंग्लैंड ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 60 ओवर में 334 रन का विशाल स्कोर बनाया। जवाब में भारतीय टीम के ओपनर सुनील गावस्कर ने 174 गेंद में मात्र 36 रन की बेहतरीन पारी खेली। जी, हां। सही पढ़ा आपने। यह वही सुनील गावस्कर है जिनकी गिनती भारत के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाजों में होती है। टेस्ट में 10000 से अधिक रन और 34 शतक लगाने वाले सुनील गावस्कर ने शायद उस दिन रन ना बनाने की कसम खा ली थी। इतने विशाल स्कोर का पीछा करते हुए इतनी धीमी बल्लेबाजी। सुनील गावस्कर के साथी खिलाड़ियों को भी समझ नहीं आ रहा था कि सुनील करना क्या चाह रहे हैं। बाकी खिलाड़ी तो उन्हें याद दिला रहे थे कि टेस्ट मैच नहीं वनडे है। यहां 60 ओवर में मैच खत्म हो जाने वाला है। उस समय एक वनडे 60 ओवर का ही होता था। भले ही कोई भी कारण रहा हो पर सुनील गावस्कर भी अपनी इस पारी को अपने करियर की सबसे घटिया पारी कहते हैं।
बापू नादकर्णी का लगातार 21 मेडन ओवर फेंकने का रिकॉर्ड।
अब बात करते हैं दूसरे आश्चर्यजनक किस्से की। बात है भारत और इंग्लैंड के बीच खेले जा रहे एक और टेस्ट मैच की। मैच था 1966 में। इस मैच में भारत के बाएं हाथ के स्पिनर बापू नादकर्णी ने भारत के लिए लगातार 21 ओवर मेडन फेंके। बापू को अब तक का सबसे किफायती गेंदबाज माना जाता है। इन्होंने अपने करियर में मात्र 1.67 की औसत से रन दिए हैं। उस मैच में बापू नाडकर्णी ने 32 ओवर में 27 मेडन और 5 रन दिए पर में कोई विकेट नहीं मिल सका। 54 साल हो जाने के बाद भी इनका यह रिकॉर्ड कायम है और शायद फटाफट क्रिकेट के इस दौर में बापू नादकर्णी का यह आश्चर्यजनक रिकॉर्ड तोड़ना बहुत मुश्किल है।
अगर क्रिकेट इतिहास के सबसे बेहतरीन लेग स्पिनर की बात की जाए तो ऑस्ट्रेलिया के शेन वॉर्न होंगे। और हो भी क्यों ना? शेन वॉर्न ने 145 टेस्ट मैच में 2.67 के औसत से 708 विकेट चटकाए हैं। शेन वॉर्न को बाॅल ऑफ द सेंचुरी डालने का भी खिताब मिला है। पर आपको जानकर हैरानी होगी कि ओडीआई में श्रीलंका के महान बल्लेबाज सनत जयसूर्या जिनके नाम अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में 20000 से ज्यादा रन दर्ज हैं उन्होंने शेन वॉर्न से ज्यादा वनडे विकेट लिए हैं। शेन वॉर्न के नाम वनडे में 293 विकेट दर्ज हैं और जयसूर्या ने वनडे में 323 विकेट लिए हैं। यह था क्रिकेट से जुड़ा तीसरा मजेदार किस्सा।
सर डोनाल्ड ब्रैडमैन अपने पूरे करियर में मात्र 6 छक्के लगा पाए।
ऑस्ट्रेलिया के महान गेंदबाज की बात तो हो गई अब बात करते हैं ऑस्ट्रेलिया के महान बल्लेबाज सर डॉन ब्रेडमैन की। इन्हें क्रिकेट की शुरुआत से आज तक का सबसे अच्छा टेस्ट बल्लेबाज माना जाता है। आप सभी तो जानते ही होंगे कि इनका टेस्ट औसत 99.94 का है।डॉनल्ड ब्रैडमैन का औसत 100 भी हो सकता था अगर वह अपनी अंतिम पारी में 4 रन बना लेते। पर बदकिस्मती से डॉनल्ड ब्रैडमैन शून्य पर आउट हो गए। फर्स्ट क्लास में 28000 से ज्यादा रन और 117 शतक दर्ज हैं इनके नाम। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में इतना बेहतरीन औसत और 681 चौके मारने के बाद भी ब्रैडमैन अपने पूरे टेस्ट करियर में मात्र 6 छक्के लगा पाए। इतने छक्के तो युवराज सिंह ने स्टुअर्ट ब्रॉड की एक ही ओवर में लगा दिए थे।
जितने रन नहीं उससे ज्यादा विकेट ।
अब बात करते हैं भारत के एक और बेहतरीन स्पिनर भगवत चंद्रशेखर की। सुनील गावस्कर इन्हें भारत का सबसे अच्छा स्पिनर भी कहते हैं। खास बात तो यह है कि जिस हाथ से भगवत गेंदबाज़ी करते थे, बचपन में इन्हें उसी हाथ में पोलियो हो गया था। आपको जानकर हैरानी होगी कि बहुत चंद्रशेखर ने 58 टेस्ट मैच के अपने करियर में जितने रन नहीं बनाए उससे ज्यादा विकेट लिए हैं। चंद्रशेखर ने 242 विकेट चटकाए 167 रन ही बना सके
🙏धन्यवाद 🙏
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